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लापरवाही और अलास से नकारना ChsHin 271

परमेष्वर के लोग होने के बावजूद हम लोगों के बीच आलस, लापरवाही पूर्वक नकारना, एक अपराधिक अविष्वास पाया गया है, जिसके कारण हमारा प्रभु के प्रति काम पिछड़ गया है। जो प्रभु ने हमें करने के लिये दिया था कि प्रभु की ज्योति हम दूसरे देषों के लोगों तक पहुंचा सकें। (लाइफ स्केचज़ 213) ChsHin 271.1

मुझे दिखाया गया कि परमेष्वर के जन होने के नाते हम अभी भी सोये हुये है। अपने कर्तव्य से विमुख है, जो कि वचन की रौषनी दूसरे देषो तक पहुंचाने का काम था। (लाइफ स्केचज़ 212) ChsHin 271.2

हमे परमेष्वर की दूरदर्षिता के साथ नहीं चल रहे है। प्रभु यीषु और उसके स्वर्गदूत काम में लगे है। ये काम तो आगे बढ़ रहा है लेकिन हम वहीं खड़े है, पीछे छूट गये है। यदि परमेष्वर की खुली विधियों को अपनाते है तो हम हर उस मौके का तुरन्त हाथ में लेकर उसका पूरा फायदा उठाना चाहिये। जहां तक हमारी पहुंच है। प्रभु की ज्योति को फैलने दो, अन्य राश्ट्रों में भी फैलाओं। (लाइफ स्केचज़ 2012, 213) ChsHin 271.3